जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री फारुक अब्दुल्ला को रिहा किया गया
जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री फारुक अब्दुल्ला को रिहा किया गया

अनुच्छेद 370 हटाए जाने के बाद हिरासत में लिए गए जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री फारुक अब्दुल्ला को रिहा किया गया है। उन पर लगाए गए पब्लिक सेफ्टी एक्ट भी हटा दिया गया है। वह करीब छह महीने से हिरासत में थे।

फारुक अब्दुल्ला को उनके बेटे और पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला और अन्य नेताओं के साथ 5 अगस्त को हिरासत में ले लिया गया था। दो पूर्व मुख्यमंत्री फारुक उमर अब्दुल्ला और महबूबा मुफ्ती फिलहाल हिरासत में रहेंगे।


पीडीपी सांसद मीर मोहम्मद फयाद ने फारुक अब्दुल्ला की रिहाई का स्वागत किया है और मांग की है कि महबूबा मुफ्ती और पूर्व सीएम उमर अब्दुल्ला को रिहा कर भारत सरकार को अब कश्मीर में राजनीतिक संवाद शुरू करना चाहिए।


कश्मीर से राज्यसभा सांसद नाजीर अहमद लवाई ने कहा, हम इस फैसले का स्वागत करते हैं। हम मांग करते हैं कि सभी नेताओं, युवा और आम लोगों को गिरफ्तार किया है उनको भी रिहा किया जाए।

वहीं नेशनल कांफ्रेंस ने कहा कि पार्टी के संरक्षक फारूक अब्दुल्ला को हिरासत से रिहा करने से जम्मू-कश्मीर में राजनीतिक प्रक्रिया की वास्तविक पुनर्स्थापना होगी।

नेशनल कांफ्रेंस (एनसी) ने कहा कि प्रक्रिया को और गति तब मिलेगी जब पार्टी उपाध्यक्ष उमर अब्दुल्ला और अन्य राजनीतिज्ञों की रिहाई होगी।

हम सरकार से उनकी यथाशीघ्र रिहाई की अपील करते हैं। पार्टी ने विज्ञप्ति में कहा, ‘जम्मू-कश्मीर में नेशनल कांफ्रेंस ने लोकतांत्रिक प्रक्रिया के जरिये लोगों की आवाज मजबूत करने में अहम भूमिका निभाई है और आगे भी वह इसे जारी रखेगी’।


सीताराम येचुरी ने कहा अभी कई और भी जेल में है, सबको रिहा करके जम्मू-कश्मीर में लोकतंत्र को फिर से स्थापित करने की प्राथमिकता हो।

अभिषेक मनु सिंघवी ने कहा कि लोकतंत्र का रास्ता भले ही घुमावदार हो और नदी की तरह कई उतार-चढ़ाव वाला हो लेकिन आखिरकार नदी समुद्र में पहुंच जाएगी।


शशि थरूर ने कहा कि डॉ। फारुख अब्दुल्ला की रिहाई का स्वागत करते हैं, मुझे उम्मीद है कि वो जल्द ही लोकसभा में उचित स्थान में वापस आएंगे।

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