Rajasthan Assembly Elections: Congress will have to overcome challenges
Rajasthan Assembly Elections: Congress will have to overcome challenges

Rajasthan Assembly Elections: राजस्थान विधानसभा चुनाव में अभी करीब दो महीने बाकी हैं. एक तरफ मुख्यमंत्री ने सरकार रिपीट करवाने की चाह को लेकर अपनी देव दर्शन यात्रा समेत संवाद यात्रा शुरू कर दी है।. इसके बाद भी कांग्रेस पार्टी को राजस्थान में सरकार बनाने की कोशिश में कई गंभीर समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है.

पार्टी और मीडिया संगठनों द्वारा किए गए सर्वे

राजस्थान में विधानसभा चुनाव से पहले कांग्रेस पार्टी को लेकर कई सर्वे कराए गए। अलग से एक मल्टीमीडिया सर्वे भी कराया गया जिसमें पता चला कि राजस्थान में फिलहाल कांग्रेस और बीजेपी के बीच कांटे की टक्कर है. दोनों पार्टियों के बीच 85 से 95 सीटों के बीच यह गणित जारी है.

कांग्रेस पर हिंदू विरोधी नीतियों का आरोप

एक तरफ जहां भारतीय जनता पार्टी चुनाव से पहले हिंदुत्व के बल पर जीतने की आस में बैठी है , लेकिन दूसरी तरफ कांग्रेस पर लगातार हिंदुत्व विरोधी होने का आरोप लग रहा है. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और उनके मंत्री कई बार हिंदुत्व विरोधी बयान भी दे चुके हैं। सीएम ने अपनी संवाद यात्रा के साथ देव यात्रा की शुरुआत की है। इस पर भाजपा का कहना है कि चुनावी साल में जब केवल 10 दिन बचे हैं तब सीएम को भगवान याद आए हैं।

सीएम का चेहरा और पायलट की भूमिका स्पष्ट नहीं है

हालांकि कांग्रेस ने राजस्थान में पार्टी के भीतर गुटबाजी की अफवाहों का खंडन किया है, लेकिन आलाकमान ने अभी तक सचिन पायलट की भूमिका पर फैसला नहीं किया है। हाल ही में दिल्ली कांग्रेस सांसद केसी वेणुगोपाल ने कहा था कि राजस्थान में कोई गुटबाजी नहीं है लेकिन पार्टी सोच रही है कि राजस्थान में पार्टी प्रमुख का चेहरा कौन होगा और सचिन पायलट क्या भूमिका निभाएंगे. क्या होगा इस पर वह चुप हैं. .

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