Chief Minister Shri Chouhan committed to make the state free of corona
Chief Minister Shri Chouhan committed to make the state free of corona

तत्परता पूर्वक किये जा रहे हैं समस्त आवश्यक प्रबंध
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने मुख्यमंत्री पद की शपथ लेते ही 23 मार्च की रात्रि से ही प्रदेश को कोरोना मुक्त करने के लिये आवश्यक कार्यवाही प्रारंभ कर दी। प्रदेश को कोरोना मुक्त करने के लिये वे सभी को साथ लेकर निरंतर कार्य कर रहे हैं। आज प्रदेश में कोरोना को हराने के लिये समुचित प्रबंधों के साथ जंग लड़ी जा रही है। इसका ही परिणाम है कि बड़ी संख्या में पुराने मरीज स्वस्थ होकर घर लोटने लगे हैं।

कोरोना संक्रमण से ग्रस्त लोगों के बेहतर उपचार के लिये चार-स्तरीय योजना बनाई गई है।

भोपाल एवं इंदौर को अलग-अलग कई जोन में बाँटा गया है। प्रदेश को कोरोना से मुक्त करने के लिये जिला-स्तरों पर राज्य-स्तरीय क्राइसेस मैनेजमेंट ग्रुप बनाये गये हैं। डेटा के आधार पर कोरोना प्रभावित हॉट-स्पॉट को चिन्हित कर उन्हें कंटेनमेंट एरिया में तब्दील कर दिया गया है। सभी जिलों में लॉक-डाउन का सख्ती से पालन सुनिश्चित किया गया है। इंदौर, भोपाल और उज्जैन में सामुदायिक संक्रमण को रोकने के लिये टोटल लॉक-डाउन किया गया है। माइक्रो मैनेजमेंट प्लान तैयार कर कोरोना के मरीजों की पहचान करने, उन्हें ट्रेस करने और उसके बाद परीक्षण और इलाज की समुचित व्यवस्था की जा रही है।


प्रदेश में कोरोना संक्रमण को रोकने के लिये हाई रिस्क क्षेत्रों को कंटेनमेंट जोन में तब्दील किया जा रहा है। आवश्कयता अनुसार चिन्हांकित होने वाले संदिग्ध मरीजों को तत्काल प्रभाव से उसी क्षेत्र में क्वारेंटाइन और आइसोलेट किया जा रहा है। होम क्वारेंटाइन किये गये लोगों को घरों से सीधे संवाद करने के लिये सभी जिलों में टेली-मेडिसीन केन्द्र बनाये गये हैं। वीडियो कॉलिंग के माध्यम से प्रभावित व्यक्ति से चिकित्सक सीधे संवाद कर सकते हैं। क्वारेंटाइन किये गये व्यक्तियों की निगरानी के लिये ‘सार्थक” एप विकसित किया गया है। इसमें फोटो बेस्ड टेगिंग पद्धति से मरीजों की निगरानी की जा रही है।


प्रदेश में कोविड-19 वायरस की टेस्टिंग के समुचित प्रबंध कर लिये गये हैं।

इंदौर, भोपाल, जबलपुर, ग्वालियर, रीवा और सागर के शासकीय चिकित्सा महाविद्यालयों के साथ ही 8 निजी चिकित्सा महाविद्यालयों और निजी क्षेत्र के 107 अस्पतालों को मरीजों के उपचार के लिये चिन्हित किया गया है। विशेषत: कोविड-19 के उपचार के लिये 23 अस्पताल चिन्हित किये गये हैं। प्रदेश में प्रतिदिन एक हजार टेस्ट की क्षमता प्राप्त की जा चुकी है। वर्तमान में प्रदेश में पर्याप्त मात्रा में पीपीई किट्स हैं, जो आवश्यकतानुसार संभागीय मुख्यालयों पर पहुँचा दिये गये हैं। हाईड्रो क्लोरोक्वीन गोलियों की मात्रा भी पर्याप्त है। इसके अतिरिक्त, एन-95 मॉस्क वितरित किये जा रहे हैं। नर्सों तथा पैरामेडिकल स्टॉफ को निरंतर प्रशिक्षण उपलब्ध कराने के लिये डब्ल्यूएचओ तथा यूनिसेफ के माध्यम से प्रशिक्षण मॉड्यूल तैयार कर जूम (Zoom) एप द्वारा प्रशिक्षण दिया जा रहा है।


प्रदेश सरकार प्रत्येक स्तर पर कोरोना को पराजित करने के लिये कमर कस चुकी है। निरंतर समुचित उपायों के बेहतर प्रबंधन से कोरोना पीड़ितों का बेहतर उपचार किया जा रहा है। जल्द ही वर्तमान स्थिति पर नियंत्रण से सकारात्मक परिणाम मिलने लगेंगे।

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